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एक संख्यात्मक अभिक्षमता परीक्षण में पुरुष तथा महिला विद्यार्थी एक समान प्रदर्शन करते हैं।" यह कथन निम्न में से किसको इंगित करता है?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 106. " एक संख्यात्मक अभिक्षमता परीक्षण में पुरुष तथा महिला विद्यार्थी एक समान प्रदर्शन करते हैं।" यह कथन निम्न में से किसको इंगित करता है ? शून्य परिकल्पना दिशात्मक परिकल्पना सांख्यकीय परिकल्पना अनुसंधान परिकल्पना उत्तर- (1) शून्य परिकल्पना ( Null hypothesis)-  शून्य परिकल्पना वह परिकल्पना है जो यह बताती है कि दो समूहों या चरों का आपसी अन्तर शून्य है अर्थात दो चरों या दो समूहों में कोई सार्थक अन्तर नहीं है। इस प्रकार की परिभाषा को परिभाषित करते हुए कहा गया है कि “ शून्य परिकल्पना की मान्यता यह है कि दो चरों में कोई अन्तर नही है इसका निर्माण अस्वीकृत होने के उद्देश्य से किया जाता है।"

एक अच्छे शोध प्रबंध लेखन में कौन-कौन से तत्व शमिल होते हैं?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 105. एक अच्छे शोध प्रबंध लेखन में शमिल हैं- विराम चिन्ह में कमी और न्यूनतम व्याकरणिक अशुद्धियाँ। संदर्भो की सावधानीपूर्वक जाँच। शोध प्रबंध लेखन में निरंतरता। स्पष्ट और अच्छी तरह से लिखा हुआ सारांश। नीचे दिए कूटों से सही उत्तर का चयन कीजिए – a)   1, 2 और 3 b) 1, 2 और 4 c)   2, 3 और 4 d) 1, 2, 3 और 4  उत्तर- (d) शोध प्रबन्ध- वह दस्तावेज जो किसी शोधार्थी द्वारा किये गये शोध को विधिवत प्रस्तुत करता है , शोध-प्रबन्ध ( Dissertation or Thesis) कहलाता है। इसके आधार पर शोधार्थी को कोई डिग्री या व्यावसायिक सर्टिफिकेट प्रदान की जाती है। सरल शब्दों में कहें तो एम. फिल अथवा पीएचडी की डिग्री के लिए किसी स्वीकृत विषय पर तैयार की गई किताब जिसमें तथ्य संग्रहित रहते है तथा जिसके आधार पर किसी निष्कर्ष तक पहुँचे की कोशिश की जाती है- वह शोध प्रबन्ध कहलाता है । डॉ नागेन्द्र के शब्दों में "एक अच्छा शोध प्रबंध एक अच्छी आलोचना भी होती ह...

किस प्रकार के अनुसंधान के सारांशों/निष्कर्षों को अन्य स्थितियों से सामान्यीकृत नहीं किया जा सकता है?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 104. निम्नलिखित में से किस प्रकार के अनुसंधान के सारांशों/निष्कर्षों को अन्य स्थितियों से सामान्यीकृत नहीं किया जा सकता है ? वर्णनात्मक अनुसंधान प्रयोगिक अनुसंधान कारणात्मक तुलनापरक अनुसंधान ऐतिहासिक अनुसंधान उत्तर- (4) ऐतिहासिक अनुसंधान - जॉन डब्ल्यू बेस्ट के अनुसार “ ऐतिहासिक अनुसंधान का संबंध ऐतिहासिक समस्याओं के वैज्ञानिक विश्लेषण से होता है। इसके विभिन्न पद भूत के सम्बन्ध में एक नई सूझ पैदा करते हैं जिसका सम्बन्ध वर्तमान और भविष्य से होता है।"  ऐतिहासिक अनुसंधान के मूल उद्देश्य इस प्रकार है – वैज्ञानिकों की भूतकालीन तथ्यों के प्रति जिज्ञासा की तृप्ति एवं भूत , वर्तमान तथा भविष्य का संबंध स्थापना है। ऐतिहासिक अनुसंधान का मूल उद्देश्य भूत के आधार पर वर्तमान को समझना एवं भविष्य के लिए सतर्क होना है। शिक्षा मनोविज्ञान अथवा अन्य सामाजिक विज्ञानों में चिन्तन को नई दिशा देने एवं नीति - निर्धारण में सहायता करना है। किन परिस्थ...

अनुसंधान शब्द का अर्थ क्या हैं?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 103. ' अनुसंधान ' शब्द का अर्थ के संबंध में निम्नलिखित में से कौन-से कथन सत्य हैं ? अनुसंधान का तात्पर्य किसी समस्या के समाधान का पता लगाने के लिए शुरू की गई व्यवस्थित कार्याकलाप अथवा कार्यकलापों की श्रृंखला से है। यह एक व्यवस्थित , तार्किक और निष्पक्ष प्रक्रिया है जिसमें परिकल्पना का परीक्षण , आंकड़ों का विश्लेषण , सिद्धान्तों की व्याख्या और रचना की जा सकती है। यह सत्य के प्रति बौद्धक जाँच अथवा खोज है। इससे ज्ञान में वृद्धि होती है। कूट  a)   2, 3 और 4 b) 1, 3 और 4 c)   1, 2, 3 और 4 d) 1, 2 और 3 उत्तर- (c) अनुसंधान ( Research)-  व्यापक अर्थ में अनुसंधान ( Research) किसी क्षेत्र में “ ज्ञान की खोज करना" या विधिवत गवेषणा करना होता है। वैज्ञानिक अनुसंधान विधि शोधार्थी की जिज्ञासा का समाधान करने की उत्तम विधि है। इसमें नवीन वस्तुओं की खोज और पुराने वस्तुओं एवं सिद्धांतों के पुनः परीक्षण किया जाता है।...

शोध निबंध के अनिवार्य तत्व हैं?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 102. शोध निबंध के अनिवार्य तत्व हैं- प्रस्तावना, आँकड़ा–संग्रह, आँकड़ा–विश्लेषण, निष्कर्ष और अनुशंसा कार्यकारी सारांश, साहित्य पुनर्वीक्षण, आँकड़ा संग्रहण, निष्कर्ष , ग्रंथसूची शोध–योजना, शोध–आँकड़ा, विश्लेषण, संदर्भ प्रस्तावना, साहित्य पुनर्वीक्षण, शोध-प्रणालियाँ , परिणाम, चर्चा और निष्कर्ष उत्तर- (4) शोध निबंध लिखने के लिए निम्नलिखित अनिवार्य तत्व है - प्रस्तावना साहित्य पुनर्वीक्षण शोध प्रणालियाँ परिणाम चर्चा निष्कर्ष

जब शिक्षाविदों को व्याख्यान देने अथवा कुछ विशिष्ट शिक्षा संबंधी प्रकरणों पर अपनी प्रस्तुति देने के लिए बुलाया जाता है, तो वह क्या कहलाता है?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 101. जब शिक्षाविदों को व्याख्यान देने अथवा कुछ विशिष्ट शिक्षा संबंधी प्रकरणों पर अपनी प्रस्तुति देने के लिए बुलाया जाता है , तो यह कहलाता है- प्रशिक्षण कार्यक्रम कार्यशाला सिम्पोजियम सेमिनार उत्तर- (2) सेमिनार या संगोष्ठी एक सभा होती है जिसमें सूचनाओं के आदान-प्रदान ओर किसी विषय पर परिचर्चा की जाती है। सेमिनार सम्मेलन की अपेक्षा छोटे स्तर पर की जाती है। सेमिनार सीमित एवं औपचारिक प्रकृति की होती है जबकि सम्मेलन अधिक विस्तृत एवं अनौपचारिक प्रकृति का होता है। सेमिनार में परिचर्चा सीमित समय में और गंभीर विषयों पर की जाती है। प्रत्येक सदस्य को सेमिनार में अपने विचार रखने का मौका दिया जाता हैं। अन्त में सेमिनार के विषय पर परिचर्चा होती है। सेमिनार की व्यवस्था प्रबन्ध-तंत्र के कई स्तरों पर की जाती है जिन्हें चार भागों में विभाजित कर सकते हैं – लघु विचार गोष्ठी मुख्य विचार गोष्ठी राष्ट्रीय विचार गोष्ठी अन्तर्राष्ट्रीय विचार गोष्ठी

जब सामाजिक शोध की योजना बनाई जाए तो बेहतर होगा?

UGC NET General Paper Home syllabus Question Bank About the UGC Net Exam About the Writer 100. जब सामाजिक शोध की योजना बनाई जाए तो बेहतर होगा? खुले दिमाग से विषम के बारे में सोचना। उसमें पूरी तरह डूबने से पहले मार्गदर्शी अध्ययन करना। विषय से जुड़े साहित्य से परिचित होना। सैद्धांतिकता को भूलना चाहिये क्योंकि यह एक व्यावहारिक व्याख्या है। उत्तर- (3) जब सामाजिक शोध की योजना बनाई जाए तो बेहतर होगा कि विषय से जुड़े साहित्य से परिचित होना चाहिए। सामाजिक अनुसंधान की आधारशीला अपनी व्याख्या के सम्बन्ध में संदेह प्रकट करने से ही मजबूत होती है। प्रयोग द्वारा सामाजिक घटनाओं की समझ उत्पन्न करना , घटनाओं में कारणता स्थापित करना और वैज्ञानिक तटस्थता बनाए रखना , सामाजिक अनुसंधान की मुख्य लक्षण हैं। सामाजिक शोध में ऐसी व्याख्या प्रस्तुत नहीं करनी चाहिए जो केवल अनुसंधानकर्ता को संतुष्ट करे , बल्कि ऐसी व्याख्या प्रस्तुत करनी होती है जो आलोचनात्मक दृष्टि वालों या विरोधियों का संदेह दूर कर सके। इसके लिए निरीक्षण को व्यवस्थित करना , तथ्य...